UP Board Solutions for Class 5 Sanskrit Piyusham Chapter 17 अहिंसा
परमोधर्मः (अहिंसा सर्वश्रेष्ट धर्म)
अहिंसा परमोधर्मः शब्दार्थाः
वनराजः = सिंह (वन का राजा)
आज्ञापयति = आज्ञा देता है
शृगालम् = सियार को
मन्त्रिन् = हे मंत्री जी
आमंत्रय = आमंत्रण दो
भल्लूकमुलूकम् (भल्लूकम् + उलूकम्) = भालू तथा उल्लू को
चित्रकम् = चीते को
मार्जारम् = बिल्ले को
नकुलम् = नेवले को
शूकरम् = सूअर को
मकरम् = मगर को
सानुरागम् = प्रेमपूर्वक
काननं = जंगल
हरिततृणैः = हरी-भरी घास से
मल्हारं = वर्षाकालीन एक राग
क्रूरः = कठोर/निर्दय।
चेतसि = मन में
ज्ञातः = विदित
निखिले विश्वे = संपूर्ण संसार में